सरस्वती शिशु मंदिर में अंतर्राष्ट्रीय हाथ धुलाई दिवस पर सामूहिक जागरूकता कार्यक्रम आयोजित
- हाथ धोना सस्ता, सरल और जीवन रक्षक कदम
- अंतर्राष्ट्रीय हाथ धुलाई दिवस पर मंडला में जागरूकता अभियान
- हाथ धोने से 60 प्रतिशत बीमारियों को किया जा सकता है दूर
- सरस्वती शिशु मंदिर के छात्रों ने ली स्वच्छता की शपथ
मंडला महावीर न्यूज 29. अंतर्राष्ट्रीय हाथ धुलाई दिवस के अवसर पर 15 अक्टूबर को सरस्वती शिशु मंदिर विद्यालय में एक विशाल और प्रभावी जनजागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया। विद्यालय के प्राचार्य तरेंद्र पांडे के मार्गदर्शन में आयोजित इस कार्यक्रम में विद्यार्थियों को सामूहिक रूप से एकत्रित कर उन्हें व्यक्तिगत एवं सार्वजनिक स्वच्छता के महत्व के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई। इस दौरान विद्यार्थियों को पांच प्रकार से हाथ धोने की प्रक्रिया का प्रदर्शन भी कराया गया। कार्यक्रम में उपस्थित विशेषज्ञ अतिथियों ने हाथ धुलाई दिवस के महत्व पर प्रकाश डाला।
60 प्रतिशत बीमारियों की रोकथाम संभव
सेवानिवृत्त व्याख्याता योगेश श्रीवास्तव ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए अवगत कराया कि मनुष्य के सफाई अभियान में स्वयं की स्वच्छता बहुत अनिवार्य है। उन्होंने बताया कि हाथ धोने और स्वच्छ रहने से हम अपने वातावरण में फैलने वाली लगभग 60 प्रतिशत बीमारियों को दूर कर सकते हैं और स्वयं को सुरक्षित रख सकते हैं। योगेश श्रीवास्तव ने गंभीर चेतावनी देते हुए कहा कि हाथ न धोने पर वायरस सीधे भोजन के माध्यम से मुंह द्वारा शरीर में प्रवेश कर जाते हैं, जो डायरिया, पैचिस, श्वसन संबंधी जुखाम और फ्लू जैसी बीमारियों को पैदा करते हैं। उन्होंने छात्रों को बताया कि हाथ धोना एक सस्ता, सरल और जीवन रक्षा करने वाला कदम है, जिसे हर कोई अपना सकता है, चाहे वह स्कूल हो, स्वास्थ्य केंद्र हो या घर।
कोविड संकट में हाथ धुलाई की भूमिका
इस अवसर पर पर्यावरणविद राजेश क्षत्री ने अपने उद्बोधन में विश्वव्यापी कोविड महामारी का उल्लेख किया। उन्होंने अवगत कराया कि विश्व स्तरीय कोविड बीमारी के दौरान केवल हाथ धोने की प्रक्रिया को अपनाकर ही हमने अपने जीवन को सुरक्षित कर पाया था। उन्होंने जोर देकर कहा कि यह दिवस हमारे जीवन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है, क्योंकि हाथों पर अक्सर कीटाणु और वायरस चिपके रहते हैं, जिन्हें नियमित रूप से साबुन और पानी से धोकर हम अपने जीवन को सुरक्षित कर पाते हैं। श्री क्षत्री ने विद्यार्थियों को व्यक्तिगत स्वच्छता के लिए अनेक उपाय भी बताए। इनमें प्रतिदिन नहाना, सिर में तेल लगाना, निरंतर नाखून काटते रहना, कपड़ों को धोना, प्रतिदिन ब्रश करना और खुले वातावरण में रहना शामिल है। उन्होंने भोजन के पहले और शौच जाने के बाद हाथ धोना अनिवार्य बताया।
शपथ और उपकरण भेंट
कार्यक्रम के अंत में प्रधानाध्यापक आदित्य तिवारी ने सभी विद्यार्थियों से प्रतिदिन हाथ धोने और विद्यालय की स्वच्छता में योगदान देने की अपील की। उन्होंने अतिथियों के प्रति आभार व्यक्त किया और छात्रों को अवगत कराया कि हाथ धोना एक सकारात्मक सोच का विषय है। इसके बाद सभी छात्रों ने स्वच्छता के ऊपर शपथ ली। अतिथियों द्वारा विद्यालय को नाखून काटने के लिए नेल कटर और हाथ धोने के लिए साबुन भी भेंट किए गए, जिससे विद्यालय में स्वच्छता अभियान को निरंतर जारी रखा जा सके।










