आशा, पर्यवक्षकों ने दी लिखित परीक्षा

आशा और पर्यवक्षकों ने दी लिखित परीक्षा, खरा उतरने पर मिलेगा कैश अवॉर्ड

  • आशा और पर्यवक्षकों में दिखा लिखित परीक्षा देने में उत्साह, पास होने पर मिलेगा सर्टिफिकेशन
  • आशा और पर्यवेक्षकों का अब डेढ़ घंटे की लिखित परीक्षा से होगा प्रमाणन
  • खरा उतरने पर मिलेगा कैश अवॉर्ड और प्रमाण पत्र

मंडला महावीर न्यूज 29. मंडला जिले के पांच विकासखंडो से चयनित आशा और पर्यवेक्षकों के ज्ञान को परखने के लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा राष्ट्रीय मुक्त विद्यालयी शिक्षा संस्थान दिल्ली के माध्यम से तीन चरण में परीक्षा आयोजित की गई। इस परीक्षा के लिए जिले में कार्यरत 1271 आशाओं में से 271 आशाओं को चयनित किया गया था। जिसमें दो चरणों में 271 आशा वर्कर और पर्यवेक्षकों ने परीक्षा दी। तीसरे चरण की लिखित परीक्षा में 271 आशा और पर्यवेक्षकों में से 266 ने ही लिखित परीक्षा दी और पांच अनुपस्थित रही।

जानकारी अनुसार एनआईओएस दिल्ली द्वारा चयनित परीक्षा केन्द्र केन्द्रीय विद्यालय मंडला बनाया गया था। जहां जिले के पांच विकासखंडों की चयनित आशा वर्कर और पर्यवेक्षकों ने शासन द्वारा निर्धारित पेर्टन पर डेढ़ घंटे की लिखित परीक्षा में शामिल होकर परीक्षा दी। बताया गया कि प्रथम चरण में आयोजित आंतरिक परीक्षा में आशा व पर्यवेक्षकों ने ऑनलाईन परीक्षा दी, इसके बाद द्वितीय चरण में उनके द्वारा कार्यस्थल में दी जाने वाली सेवाओं से संबंधित प्रायोगिक परीक्षा ली। जिसेमं प्रैक्टिल कराकर उनके ज्ञान को परखा गया। तीसरे चरण में 271 आशा वर्कर और पर्यवेक्षकों में से 266 ने ही परीक्षा में सहभागिता दी। केन्द्रीय विद्यालय प्राचार्य की निगरानी में इनकी परीक्षा संपन्न हुई।

बताया गया कि आदिवासी बाहुल्य जिला मंडला के शहर और ग्रामीण अंचलों में शिशु से लेकर बुजूर्गो के स्वास्थ्य का ख्याल रखने वाली आशा व आशा पर्यवेक्षकों के ज्ञान को परखने के लिए तीन चरण में परीक्षा आयोजित की गई। जिसके तीनों चरणों की परीक्षा शासन द्वारा निर्धारित पैरामीटर के हिसाब से ली गई है। नेशनल इंस्टीच्यूट ऑफ ओपन स्कूल द्वारा जिले के पांच विकासखंड बम्हनी, मोहगांव, नारायणगंज, बिछिया, नैनपुर की चयनित 271 आशा वर्कर और पर्यवेक्षकों ने तीसरे चरण में लिखित परीक्षा दी। आयोजित परीक्षा को लेकर ये काफी उत्साहित दिख रही थी। इस परीक्षा में पास होने के बाद आशा प्रमाणित हो जाएगी और पांच हजार रुपये का कैश अवॉर्ड भी मिलेगा।

स्कूल के दिन याद आए 

बताया गया कि स्वास्थ्य विभाग की इस पहल के तीसरे चरण की लिखित परीक्षा देने पहुंची आशाओं ने कहां कि परीक्षा में शामिल होकर स्कूल के दिन याद आ गए। वर्षो बाद बोर्ड पेर्टन पर परीक्षा देने पहुंचे है। परीक्षा शुरू होने से पहले अपने कक्ष के रोल नंबर देखे। स्कूल प्रबंधन ने परीक्षा के लिए भी व्यवस्थाएं कर रखी थी। किसी भी परीक्षार्थी को मोबाईल समेत सभी सामग्री को बाहर रखा दिया गया। यह सब देखकर परीक्षा देने पहुंची आशा वर्कर और पर्यवेक्षकों को अपने स्कूल के दिन याद आ गए।

पूरी तैयारी के साथ दी परीक्षा 

डीसीएम हिमांशु सिंगौर ने बताया कि फील्ड में आशा वर्कर का महत्वपूर्ण योगदान रहता है। परीक्षा का मुख्य उद्देश्य है कि इस परीक्षा के माध्यम से आशा वर्कर का ज्ञान बढ़े। आयोजित परीक्षा में खरा उतरने के लिए आशा वर्कर पूरी तैयारी के साथ परीक्षा देनी पहुंची। सभी काफी उत्साहित दिख रही थी। दो चरणों में ली गई परीक्षा में इनके द्वारा उत्कृष्ट प्रदर्शन किया गया है। आशा वर्करों और पर्यवेक्षकों द्वारा इस परीक्षा में खरा उतरने कड़ी मेहनत की है। अब परीक्ष परिणाम के बाद ही इनकी काबलियत साबित होगी और उन्हें इस परीक्षा के सटिफिकेशन प्रमाण पत्र मिल जाएगा।

पास होने पर होगी सर्टिफाइड, मिलेगा कैस अवार्ड 

बीसीएम राहुल चंद्रौल ने बताया गया कि आशा वर्कर के ज्ञान को परखने के लिए स्वास्थ्य विभाग ने पहले ऑनलाईन परीक्षा इसके बाद उनके द्वारा संपादित करने वाले कार्यो को प्रैक्टिल कराकर परीक्षा ली। अब तीसरे चरण में लिखित परीक्षा ली गई है। अब आशा वर्कर इस परीक्षा में पास होती हैं तो सर्टिफाइड हो जाएगी और पांच हजार रुपये का कैश अवॉर्ड भी इन्हें मिलेगा। लिखित परीक्षा से पहले आशा वर्करों का आंतरिक परीक्षा और ऑनलाईन परीक्षा ली गई।

परिणाम के बाद होगी सटिफाईड 

ग्राम व शहर में आशा वर्करों द्वारा जमीनी स्तर पर काम किया जाता है। ये स्वास्थ्य विभाग के रीढ की हड्डी हैं। इस परीक्षा का मुख्य उद्देश्य यह है कि आशा वर्कर का ज्ञान इस परीक्षा के मध्यम से बढ़ेगा। परीक्षा में खरा उतरने के लिए आशा वर्करों ने खूब मेहनत की है। तीनों चरणों की परीक्षा में इनके कार्यो की गुणवत्ता जांची गई। इसके आधार पर ही परीक्षा परिणाम आने के बाद इनका सटिफिकेशन प्रमाण मिलेगा।



 

Leave a Comment