वार्षिक गणना शीत लहर, धर्मकर्म, हादसा, नोटिस, स्ट्रीट डॉग, तापमान, यात्रा, प्रोजेक्ट सुगम्य, वनाधिकार, निरीक्षण समेत प्रमुख खबरें
वार्षिक गणना में तय होगी कान्हा पार्क के वन्यजीवों की संख्या
- वन्यजीवों के मिले चिन्हों से होगी इनकी संख्या की गणना
- वन्यप्राणियों की वार्षिक फेस-4 गणना में वनकर्मी जुटा रहे इकोलॉजिकल एप में जानकारी
मंडला महावीर न्यूज 29. आदिवासी बाहुल्य मंडला जिला साल, सागौन समेत अनेक वनोषौधियों की खूबसूरती से यहां की प्राकृतिक में चार चांद लगा रहे है। अनेक वनांचल क्षेत्रों में प्राकृतिक के अद्भूत नजारे के साथ अनेक प्रकार के वन्य प्राणियों की भी भरमार है। जिसके लिए जिले की पहचान है। यहां देशी, विदेशी पर्यटकों की आमद साल भर होती है। मंडला जिला प्राकृतिक रूप से समृद्ध होने के साथ, यहां बाघ, तेंदुआ, बारासिंघा, चीतल, हाथी, हिरण समेत अनेक प्रकार के वन्य प्राणियों की कमी नहीं है। इन्ही वन्य प्राणियों की गणना के लिए फेज 4 प्राणाली के अतंर्गत कान्हा टायगर रिजर्व के प्रत्येक बीट में वन कर्मी पैदल चलकर बाघ, तेंदुआ, चीतल, सांभर, बारासिंघा, भालू समेत अन्य वन्यजीवों के चिन्हों को एक ऐप के माध्यम से संकलित कर रहे है। कान्हा के वन्यप्राणियों की गणना की गई। सर्वे गणना के दौरान कान्हा पार्क में बाघ, तेंदुआ, भालू, बारासिंघ समेत अन्य वन्य प्राणियों के साक्ष्य की उपस्थिति मिली है।
जानकारी अनुसार वन्यप्राणियों की वार्षिक फेस-4 गणना के दौरान वन अमले को अनेक प्रकार के वन्यप्राणियों के पग चिन्ह और उनकी उपस्थिति के निशान मिले। जिनकी मौके पर ही ऑनलाइन जानकारी दर्ज की जा रही है। अब इन जानकारियों को एकत्र कर डेटा इंडियन इंस्टीट्यूट आफ वाइल्ड लाइफ देहरादून भेजा जाएगा। इसके लिए डेटा कलेक्शन का कार्य किया जा रहा है। इस बार भी विगत वर्ष की तरह ही डेटा कलेक्शन पूरी तरह पेपर लेस है। वन कर्मियों द्वारा एम-स्ट्राइप इकोलॉजिकल एप की मदद से वन्य प्राणियों की मौजूदगी की जानकारी भरी जा रही है।
वन्यजीवों की गणना में 600 वनकर्मी है तैनात
देश, विदेश और मध्यप्रदेश में बाघों के लिए प्रसिद्ध कान्हा टाइगर रिजर्व में शीतकालीन वन्य प्राणी गणना चल रही है। जिसमें सभी प्रकार के वन्यजीवों की गणना की जा रही है। इस कार्य के लिए कान्हा टाइगर रिजर्व के 180 से अधिक बीटों में करीब 600 वन कर्मचारियों को तैनात किया गया है। वन्यप्राणियों की वार्षिक फेस-4 गणना के लिए तैनात कर्मचारियों द्वारा स्ट्राइप इकोलॉजिकल से ये डाटा सुरक्षित कर रहे है। बताया गया कि 29 दिसंबर से शुरू हुई वन्यजीवों की यह गणना एक सप्ताह तक की जाएगी। इस गणना में कान्हा और वन विभाग के वनरक्षक, वनपाल, सुरक्षा कर्मी समेत अन्य संबंधित अधिकारी, कर्मचारियों को पहले ही प्रशिक्षित किया गया है।
विगत वर्ष पौने दो लाख मिले कान्हा में वन्यप्राणी
वन्यप्राणियों की वार्षिक फेस-4 गणना के अंतर्गत विगत वर्ष भी कान्हा टाइगर रिजर्व के मांसाहारी, शाकाहारी वन्यप्राणियों की गणना की गई थी। इस गणना के दौरान कान्हा पार्क में मौजूद वन्य प्राणियों की संख्या लगभग पौने दो लाख के आसपास आंकी गई थी। फेस 4 गणना में विगत वर्ष लगभग 148 बाघ, 140 तेंदूआ, 11 सौ बारह सिंघा, 50 हजार 500 चीतल, 11 हजार 400 संभार, 35 सौ डियर, 8 हजार 300 गौर, 74 हजार लंगूर, 23 हजार वन सुअर समेत अन्य वन्यजीवों की संख्या को आंका गया था।
प्रशिक्षण लेकर एकत्र कर रहे वन्यजीवों की संख्या
कान्हा नेशनल पार्क के सहायक संचालक पुनीत गोयल ने बताया कि वन्यजीवों की वार्षिक फेस-4 गणना करने से पहले वनकर्मियों को कान्हा प्रबंधन द्वारा वाइल्ड लाइफ इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के सहयोग से 6 व्यावहारिक प्रशिक्षण सत्र आयोजित कर प्रशिक्षित किया गया था। इन सत्रों में कान्हा के वनकर्मियों को इस गणना के सभी पहलुओं की जानकारी दी गई। इसके साथ ही इस गणना के लिए उन्हें इकोलॉजिकल ऐप का प्रशिक्षण भी दिया गया था। इस ऐप के माध्यम से ही वनकर्मी कान्हा के वन्यजीवों के चिन्हों का संकलन कर रहे है। इस कार्य में करीब 600 वन कर्मचारियों को शामिल किया गया है। जिसमें रेंजर, डिप्टी रेंजर, फोरेस्ट गार्ड, सुरक्षा श्रमिक सहित कान्हा का पूरा अमला इस वार्षिक गणना में लगा हुआ है। वन्यजीवों के प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष चिन्हों के आधार पर यह आकलन किया जा रहा है। जिससे कान्हा में मौजूद वन्यप्राणियों की गणना की जा सके।
इनका कहना है
वन्यप्राणियों की वार्षिक फेस-4 गणना में डिप्टी रेंजर और फॉरेस्ट का पूरा अमला लगा है। इसमें वन्यजीवों के प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष चिन्हों के आधार पर अंदाजा लगाया जाता है कि कान्हा टाइगर रिजर्व क्षेत्र में वन्यजीवों की कितनी संख्या है।
पुनीत गोयल, सहायक संचालक
कान्हा नेशनल पार्क, मंडला
मंडला PRO को कारण बताओ नोटिस जारी
- निर्धारित कार्यक्रम में नहीं पहुंचे मीडिया कर्मी
- 24 घंटे में जबाव ना देने पर होगी लापरवाही के लिए अनुशासनात्मक कार्रवाई
मंडला महावीर न्यूज 29. तीन जनवरी को आयोजित सुगम्य अभियान के शुभारंभ के अवसर पर पूर्व निर्धारित कार्यक्रम प्रात: 11 बजे से प्रारंभ होना था, लेकिन मंडला पीआरओ द्वारा मीडिया गु्रप एवं अन्य मीडिया कर्मियों को उक्त कार्यकम के संबंध में समय 12 बजे बताया गया। जिसके कारण मीडिया कर्मी एवं अन्य नागरिक निर्धारित समय में कार्यक्रम स्थल में नहीं पहुँच सके। मंडला पीआरओ ने अपने पदीय दायित्वों के विपरीत उक्त कृत्य करते हुए लापरवाही एवं उदासीनता दिखाई है।
बताया गया कि इसके पूर्व भी इनके द्वारा जिला स्तरीय शासकीय कार्यक्रमों में भी गंभीरता एवं जागरूकता के साथ कवरेज एवं प्रकाशन नहीं किया जाता रहा है। मंडला पीआरओ द्वारा की गई लापरवाही दण्डनीय कृत्य है। इनकी इस लापरवाही के लिए अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। मंडला पीआरओ को 24 घंटे के अंदर अपना जबाव प्रस्तुत करने कहां गया है। निर्धारित समयावधि में उत्तर प्राप्त न होने पर नियमानुसार एक पक्षीय कार्यवाही की जाएगी।
अज्ञात वाहन ने ऑटो को मारी टक्कर,दो की मौत
- महाराजपुर थाने के पीपरपानी के पास हुआ हादसा
मंडला महावीर न्यूज 29. महाराजपुर थाना क्षेत्र के अंतर्गत अज्ञात वाहन ने ऑटो को टक्कर मार दी। जिसमें दो लोगों के मौत की खबर है। एक युवक की मौके पर ही मौत हो गई। एक ने अस्पताल में दम तोड़ दिया। वहीं चार लोगों को जिला अस्पताल में गंभीर हालत में भर्ती कराया गया है।
जानकारी के अनुसार ऑटो सुकतरा का बताया जा रहा है जो सवारी लेकर माधोपुर जा रहा था। जिसमें औघटखपरी, सुकतरा, माधोपुर व मार्ग के पडऩे वाले गांव की सवारी बैठी हुई थी। पीपरपानी के पास सामने से आ रहे अज्ञात वाहन ने जोरदार टक्कर मार दी और फरार हो गया। हादसे में सुकतरा निवासी राजकुमार पिता शैल कुमार की मौके पर ही मौत हो गई। वहीं औघटखपरी निवासी गोपाल ठाकुर को जिला अस्पताल में चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। सुकतरा निवासी काशीराम उर्फ गंगाराम चौधरी को गंभीर हालत में जबलपुर रेफर किया गया है। इसके साथ ही रामप्रसाद भांवरे माधोपुर, पूर्णिमा डोंगरे पदमी, सुमंत सुकतरा घायल हैं।
श्रीकृष्ण की रासलीला, विवाह व कंस वध के प्रसंग में भाव विभोर हुए भक्त
- श्री सिद्धेश्वर धाम सुरंगदेवरी में चल रही संगीतमय श्रीमद् भागवत महापुराण
मंडला महावीर न्यूज 29. जीव कल्याण सेवा संस्थान सांई दरबार धार्मिक एवं सामाजिक कार्यक्रमों की श्रृंखला के दसवें वर्ष के प्रवेश पर सिद्धेश्वर धाम सुरंगदेवरी में कथावाचक पंडित ललित मिश्रा एवं आचार्य पंडित सनद महाराज की उपस्थिति में सम्पूर्ण श्रीमद् भागवत महापुराण का आयोजन किया जा रहा है। जिसका श्रवण करने दूर-दूर से भक्त पहुंच रहे है। सिद्धेश्वर धाम सुरंगदेवरी में चल रही श्रीमद् भागवत महापुराण के छटवे दिन रासलीला, कृष्ण-रुक्मिणी विवाह व कंस वध का प्रसंग पंडित ललित मिश्रा द्वारा सुनाया गया।
श्रीमद भागवत गीता के छठवें दिन यजमान ने कथा पुराण और व्यास गद्दी की पूजा-अर्चना की। कथावाचक पंडित ललित मिश्रा ने भगवान श्रीकृष्ण की रासलीला, रुक्मिणी विवाह और कंस वध का प्रसंग सुनाया। कथा सुनकर उपस्थित श्रद्धालु भाव विभोर हो गए। भगवान श्री कृष्ण की रासलीला का विस्तार से वर्णन किया। कथावाचक पंडित ललित मिश्रा ने कथा का रसपान कराते हुए आगे कंस वध एवं कृष्ण-रुक्मिणी विवाह के प्रसंगों का वर्णन किया। जिसमें बताया कि भगवान विष्णु के पृथ्वी लोक में अवतरित होना का एक प्रमुख कारण था, जिसमें एक कारण कंस वध भी था। कंस के अत्याचार से पृथ्वी जब त्राहि-त्राहि करने लगी तब लोग भगवान से गुहार लगाने गए।
कंस वध की कथा में आगे बताया कि गुहार लगाने के बाद भगवान कृष्ण अवतरित हुए। 11 वर्ष की अल्प आयु में कंस ने अपने प्रमुख अकरूर के द्वारा मल्ल युद्ध के बहाने कृष्ण और बलराम को मथुरा बुलवाकर शक्तिशाली योद्धा और पागल हाथियों से कुचलवाकर मारने के प्रयास भी किया, लेकिन वे सभी लोग कृष्ण और बलराम के हाथों मारे गए। अंत में कृष्ण ने अपने मामा कंस का वध कर मथुरा नगरी को कंस के अत्याचारों से मुक्ति दिला दी।
कृष्ण-रुक्मिणी विवाह प्रसंग में उन्होंने बताया कि रुक्मिणी विदर्भ साम्राज्य के राजा भीष्मक की पुत्री थी, जो भगवान कृष्ण से विवाह करने इच्छुक थी, लेकिन रुक्मिणी के पिता और भाई इससे सहमत नहीं थे, जिसके चलते उन्होंने रुक्मिणी के विवाह जरासंध और शिशुपाल को भी विवाह में आमंत्रित किया। जैसे ही यह खबर रुक्मिणी को पता चला तो उन्होंने दूत के माध्यम से प्रेम पत्र में अपने दिल की बात कृष्ण तक पहुंचाई। इसके बाद काफी संघर्ष और युद्ध के बाद अंतत: कृष्ण-रुक्मिणी का विवाह हुआ।
कुम्भेश्वर घाट से निकाली गई पंचकोशी सह उत्तर वाहिनी यात्रा
- पर्यावरण संरक्षण और नर्मदा को प्रदूषण मुक्त रखने की पहल
मंडला महावीर न्यूज 29. नर्मदा समग्र के मार्गदर्शन और जन अभियान परिषद के सहयोग से शिवनंदन सेवा समिति नारायणगंज के नेतृत्व में पर्यावरणीय पंचकोशी सह उत्तर वाहिनी वाहन यात्रा कुम्भेश्वर घाट से निकाली गई। पंचकोशी यात्रा चिरी घाट, सहजनी घाट होते हुए चिरईडोंगरी घाट पहुंची। चिरईडोंगरी घाट से तट परिवर्तन कर बुधेरा घाट से सिलुआ, व्यवहारी, मेड़ाघाट, गऊ घाट से होते हुए पिपरिया घाट पहुंची। जहां से पुन: तट परिवर्तन कर कुम्भेश्वर घाट पहुंचकर यात्रा का समापन किया गया। संपूर्ण यात्रा का संचालन एवं क्रियान्वयन राकेश अग्रवाल एवं वीरेंद्र अग्रवाल द्वारा किया गया।
आयोजित पंचकोशी यात्रा का उद्देश्य माँ नर्मदा के प्रति श्रृद्धा और पर्यावरण संरक्षण का संदेश देना है। इस पंचकोशी यात्रा के माध्यम से नर्मदा तट से पारंपरिक परिक्रमा मार्ग का अवलोकन करना, प्रमुख तीर्थ स्थलों का संरक्षण एवं उनकी स्वच्छता के लिए जागरूक करना, घाटों की सफाई और नर्मदा तटों को स्वच्छ रखने का संदेश देना, भविष्य में उत्तरवाहिनी परिक्रमा के लिए रूट चार्ट तैयार करना इस यात्रा का उद्देश्य था। इस दौरान स्थानीय निवासियों के साथ घाट चौपाल पर चर्चा का भी आयोजन किया गया।
यात्रा में विशेष सहयोग नीलेश कटारे, सोमनाथ पटेल, मनीष सोनी, रुपेश अग्रवाल, विकास सोनी, सुशांत अग्रवाल, उमेश यादव, कमलेश मरावी, अरविंद अग्रवाल, प्रवेश अग्रवाल, विजय अग्रवाल, विनोद अग्रवाल, विपिन अग्रवाल, विजय साहू, नीरज ठाकुर, रोहित ठाकुर, दुर्गेश रजक का रहा। यात्रा में जन अभियान परिषद के सुरेश सोनी एवं कृष्ण कुमार झारिया ने अपनी सेवाएं प्रदान की। महिला शक्ति के रूप में श्रीमती वंदना पटेल एवं श्रीमती साधना सोनी मौजूद रही। यात्रा में बालक अंशु सोनी और बालिका सौम्या सोनी की भी सहभागिता रही।
न्यूनतम तापमान हुआ कम, अधिकतम तापमान ने मारी छलांग
- मंडला में न्यूनतम तापमान 4.3 डिग्री, अधिकतम 29 डिग्री तापमान, दिन भर रही गुलाबी ठंड
मंडला महावीर न्यूज 29. जनवरी शुरू होते ही ठंड अपने शबाव पर है। न्यूनतम तापमान करीब 2 डिग्री नीचे उतर कर 4.3 डिग्री पहुंच गया है। लोग सुबह जब सोकर उठे तो शहर कोहरे की आगोश में डूबा हुआ था। सुबह 8 बजे तक कोहरा छाया रहा। करीब 200 मीटर तक दिखाई दे रहा था, लेकिन इसके बाद घने कोहरे के कारण धुंध के अलावा कुछ दिखाई नहीं दे रहा था। दोपहिया वाहन और चौपहिया वाहन चालकों को अपने वाहनों की लाईट जलाकर चलना पड़ा। घने कोहरे के कारण लोगों को आसपास का कुछ भी दिखाई नहीं दे रहा था।
जानकारी अनुसार पिछले एक माह से अधिकतम व न्यूनतम के तापमान में उठा पटक देखी जा रही है। अचानक तापमान बढऩे से विगत दिवस ठंड के तेवर कुछ कम हो गए थे, वहीं न्यूनतम तापमान भी 10 से 12 डिग्री के आसपास हो गया है। जिसके कारण ठंड का असर थोड़ा कम ही था। मौसम विभाग का कहना है कि वेस्टर्न डिस्टर्बेंस के कारण एक बार फिर मौसम ने करवट ली है। ठंड अपने पूरे शबाव पर लौटकर आई है। वर्तमान परिस्थितियों को देखते हुए ठंड का यह दौर अभी जारी रहने की संभावना बनी है।
बताया गया कि शीत लहर और ठंड का असर अभी रहेगा। इस बार संक्राति के दौरान भी हाड़ कपां देने वाली ठंड पडऩे की संभावना बनी हुई है। मौसम का रुख लगातार बदल रहा है और ठंड अपना असर मौसम साफ होते ही दिखाना शुरू कर दी है। जिले में गुरूवार को न्यूनतम तापमान 6 डिग्री सेल्सियस था, वहीं अधिकतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस रहा। शुक्रवार को न्यूनतम तापमान 1.7 डिग्री नीचे चले गया। जिसके बाद न्यूनतम तापमान 4.3 डिग्री पहुंच गया। इसके साथ ही अधिकतम तापमान में भी 2 डिग्री की बढ़ोत्तरी हो गई और अधिकतम तापमान 29 डिग्री पर पहुंच गया।
वाहन चालक ने कुचले स्ट्रीट डॉग के बच्चे
- वाहन चालक की लापरवाही हुई सीसीटीवी कैमरे में कैद
मंडला महावीर न्यूज 29. जिला मुख्यालय के बिंझिया स्थित शारदा कॉलोनी में एक दर्दनाक घटना घटित हुई। इस घटना से स्थानीय निवासी आक्रोशित हो उठे। बताया गया कि नीरज किराना स्टोर के पास विगत दिवस सुबह एक लापरवाह वाहन चालक ने गाड़ी चलाते हुए दो मासूम स्ट्रीट डॉग के बच्चों को कुचल दिया। यह हृदय विदारक घटना वहां लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई।
स्थानीय नागरिकों ने बताया कि वाहन चालक ने सड़क पर खेल रहे स्वान के मासूम बच्चों को अनदेखा कर दिया और उन्हें कुचलने के बाद मौके से फरार हो गया। घटना के बाद कॉलोनीवासियों ने गहरी नाराजगी व्यक्त की और प्रशासन से दोषी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की। पशु अधिकार कार्यकर्ता निशा सिंह ने इस घटना पर गहरी चिंता व्यक्त की है। उन्होंने भारतीय न्याय संहिता की धारा 325 और पशु कू्ररता निवारण अधिनियम 1960 की धारा 11 के तहत दोषी चालक के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। इसके साथ ही उन्होंने मृत बच्चों का पोस्टमार्टम कराकर न्याय प्रक्रिया के तहत दोषी को सजा दिलाने की अपील की।
निशा सिंह ने इस घटना को भारतीय संविधान के अनुच्छेद 48 ए और 51 ए (जी) के तहत जानवरों की सुरक्षा और संरक्षण की जिम्मेदारी का उल्लंघन बताया। उन्होंने प्रशासन से दोषी के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने और मामले में न्याय सुनिश्चित करने की मांग की। उन्होंने सिटी कोतवाली में आवेदन देकर तुरंत कार्रवाई की अपील की है।
स्थानीय निवासियों की अपील
घटना के बाद स्थानीय निवासियों ने प्रशासन से अनुरोध किया है कि लापरवाह वाहन चालकों के खिलाफ सख्त नियम लागू किए जाएं और सड़कों पर जानवरों की सुरक्षा के लिए जागरूकता अभियान चलाया जाए। यह घटना न केवल इंसानियत के प्रति असंवेदनशीलता को उजागर करती है, बल्कि यह भी दर्शाती है कि सड़क पर चलने वाले वाहन चालकों को सतर्क और जिम्मेदार होना चाहिए। प्रशासन से उम्मीद है कि दोषी को जल्द से जल्द सजा दी जाएगी और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए ठोस कदम उठाए जाएंगे।
छात्राओं को सावित्री बाई फुले से लेनी चाहिए प्रेरणा
- सावित्रीबाई फुले का जन्म दिवस राष्ट्रीय शिक्षक के रूप में मनाया
मंडला महावीर न्यूज 29. शासकीय स्नातक महाविद्यालय नैनपुर में प्राचार्य डॉक्टर जीसी मेश्राम के निर्देशन में, डॉ. ज्योति सिंह के संयोजन में समाजशास्त्र विभाग द्वारा प्रथम महिला शिक्षक श्रीमती सावित्रीबाई फुले का जन्म दिवस मनाया गया। इस दौरान डॉ ज्योति सिंह ने सावित्रीबाई फुले की जीवन गाथा व शिक्षा के प्रति उनकी लगन, महिलाओं के अधिकारों के लिए संघर्ष की गाथा का व्याख्यान दिया। प्राचार्य डॉक्टर जीसी मेश्राम ने छात्राओं को महान शख्सियत से प्रेरणा लेने की बात कही।
कार्यक्रम में महाविद्यालय के समस्त अधिकारी कर्मचारी डॉ एमके बघेल, डॉ जेएस उर्वेती, डॉ राम सिंह धुर्वे, डॉ. राजेश मस्तकर, डॉ. कुलभूषण रजक, डॉ नवल सिंह लोधी, रविंद्र चौहान, डॉ प्रियंका चक्रवर्ती, डॉ निखत खान, डॉ. संजीव सिंह, डॉ लक्ष्मी सिंह राजपूत, राहुल विश्वकर्मा, कुसुम मरावी, कोकल खंडेलवाल, सिंह मरावी, विनोद ठाकुर, रमेश चौहान, देवेंद्र गोठरिया, महेश सोनी, प्रकाश ठाकुर, किरण ताराबाई का सहयोग रहा।
शीतलहर के प्रभाव से बचने बरतें सावधानी
- चिकित्सकों ने दी आमजनों को सलाह
मंडला महावीर न्यूज 29. शीतलहर का प्रभाव प्रत्येक वर्ष दिसंबर-जनवरी के महीनों में होता है और कभी-कभी विस्तारित शीत लहर की घटनाएं नवंबर से फरवरी माह तक होती है। वर्तमान में जिले में शीत लहर का प्रभाव जारी है। जिसके चलते सर्द हवाओं के कारण स्वास्थ्य पर विपरीत प्रभाव पडऩे के साथ-साथ यदाकदा मृत्यु होना भी संभावित है।
सीएचएमओ डॉ. केसी सरोते द्वारा आमजनों के लिए जारी एडवाईजरी में बताया गया कि शीतलहर का नकारात्मक प्रभाव गर्भवती महिलाओं, वृद्धजनों एवं 5 वर्ष के छोटे बच्चों पर अधिक होता है। इसके अतिरिक्त दिव्यांगजनों, बेघर व्यक्तियों, दीर्घकालिक बीमारियों से पीडि़त रोगियों, खुले क्षेत्र में व्यवसाय करने वाले छोटे व्यवसायियों के लिए भी शीतलहर के दौरान विशेष सतर्कता बरतना आवश्यक है।
इनका कहना है
शीत ऋतु में शीत-घात (शीत लहर) में जन सामान्य को सलाह पर्याप्त मात्रा में गर्म कपड़े पहनें जैसे दस्ताने, टोपी, मफलर एवं जूते आदि पहनें। शीतलहर के समय जितना संभव हो सके घर के अंदर ही रहें, अतिआवश्यक हो तो ही बाहर यात्रा करें।
शीत लहर के दौरान नियमित रूप से गर्म पेय पीते रहें। आवश्यकतानुसार रूम हीटर का उपयोग करें एवं रूम हीटर के प्रयोग के दौरान पर्याप्त हवा निकासी का प्रबंध रखें। शीत लहर के समय विभिन्न प्रकार की बीमारियों की संभावना अधिक बढ़ जाती है।
फ्लू, सर्दी, खांसी एवं जुकाम आदि के लक्षण हो जाने पर चिकित्सक से संपर्क करें। सामान्य से कम शरीर का तापमान, न रूकने वाली कंपकपी, यादाश्त चले जाना, बेहोशी या मूर्छा की अवस्था का होने पर चिकित्सक से संपर्क कर उपचार प्राप्त करें।
एसडीएम घुघरी आकिप खान ने धान खरीदी केन्द्र, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र और निर्माणाधीन आईटीआई भवन का निरीक्षण किया
मंडला महावीर न्यूज 29. कलेक्टर सोमेश मिश्रा के निर्देशन में गुरूवार को एसडीएम घुघरी आकिप खान ने धान खरीदी केन्द्र घुघरी और रैगांव का निरीक्षण किया। उन्होंने धान खरीदी केन्द्रों में किसानों की सुविधाओं को दृष्टिगत रखते हुए समुचित प्रबंध करने के निर्देश दिए। धान खरीदी केन्द्र में किसानों के लिए बारदाना, छन्ना, कांटा, पंखा, छाया व पेयजल की व्यवस्था की गई है। उन्होंने धान खरीदी केन्द्रों से उपार्जन की गई फसलों का तत्काल उठाव करने के निर्देश दिए। बारिश से बचाव हेतु पॉलीथीन तथा आवश्यक सामग्रियों का प्रबंध करने को कहा। जिससे किसानों को किसी भी प्रकार की कठिनाई न हो।
एसडीएम आकिप खान ने इस दौरान सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र मोहगांव का भी निरीक्षण किया। उन्होंने स्वास्थ्य केन्द्र में आने वाले मरीजों का उचित इलाज, जांच और दवाईयों का वितरण करने को कहा। स्वास्थ्य विभाग के अमले को नियमित रूप से सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में उपस्थित होकर अपनी सेवाएं देने के निर्देश दिए। उन्होंने इस दौरान जनपद पंचायत मोहगांव में निर्माणाधीन आईटीआई भवन के निर्माण कार्यों का निरीक्षण किया। उन्होंने निर्माण कार्यों को गुणवत्तापूर्वक समय सीमा में पूर्ण करने के लिए लगातार मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए। निरीक्षण के दौरान अनुविभागीय अधिकारी के साथ कार्यालय सहायक रजनीश पटेल,कृष्णा, समेत अनुविभागीय स्तरीय अधिकारी, कर्मचारी मौजूद थे।
टेनिस बॉल क्रिकेट टूर्नामेंट का आगाज
मंडला महावीर न्यूज 29. विकासखंड नैनपुर की ग्राम पंचायत पिंडरई में टेनिस बॉल क्रिकेट टूर्नामेंट का आगाज पिंडरई पंचायत एवं बजरंग स्पोर्टिंग क्लब के तत्वाधान में आयोजित किया गया है। बताया गया कि टूर्नामेंट के आयोजक नवीन श्रीवास्तव, अभिनव लखेरा, अशोक कुमार, राकेश यादव है। प्रतिवर्ष की तरह खिलाडिय़ों के उत्साहवर्धन के लिए टूर्नामेंट का आगाज किया गया है। टूर्नामेंट उद्घाटन में जिले एवं जनपद के प्रतिनिधि सम्मलित हुए।
टूर्नामेंट का उद्घाटन भाजपा मंडल अध्यक्ष प्रजय जैन एवं अल्पसंख्यक मोर्चा जिला उपाध्यक्ष आशीष जैन द्वारा किया गया। सरपंच संदीप मरकाम, उपसरपंच जितेंद्र सिंह राजपूत ने पहली पारी खेल कर टूर्नामेंट का शुभारंभ किया। टूर्नामेंट में प्रथम पुरस्कार 25 हजार, द्वितीय पुरुस्कार 15 हजार रखा गया है। टूर्नामेंट का फाइनल मुकाबला 5 जनवरी को खेला जाएगा। टूर्नामेंट में ग्रामवासी, खेल प्रेमी उपस्थित रहे।
कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने रबी/खरीफ फसल ऋण प्रणाली की समीक्षा की
मंडला महावीर न्यूज 29. कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने शुक्रवार को गोलमेज सभाकक्ष में वर्ष 2025-26 हेतु फसल ऋण प्रणाली अंतर्गत विभिन्न रबी/खरीफ फसलों हेतु नगद एवं वस्तु के रूप में ऋण मान तथा ऋण वितरण एवं अदायगी तिथियों के संबंध में समीक्षा की। इस अवसर पर जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री श्रेयांश कूमट, कृषि उपसंचालक श्रीमती मधु अली, सहायक संचालक मत्स्य श्री एसएस सैयाम, उपसंचालक पशु चिकित्सा सेवाएं डॉ. यूएस तिवारी सहित विभागीय अधिकारी मौजूद थे। कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने आयोजित बैठक में मंडला जिले से प्रति हेक्टेयर लागत एवं उत्पादकता की जानकारी प्राप्त कर लागत एवं भुगतान क्षमता का आंकलन किया। जिसके आधार पर फसलों के ऋणमान का निर्धारण किया जा सके।
आयोजित बैठक में वर्ष 2025-26 हेतु रबी एवं खरीफ फसलों में लगने वाले प्रति हेक्टेयर लागत का आंकलन किया गया। जिसमें धान, सिंचित/असिंचित, मक्का, कोदो, कुटकी, मूंग/उड़द, अरहर, सोयाबीन, तिल, रामतिल, सन, गेहूं, सिंचित/असिंचित चना, मटर, अलसी, मसूर, राई/सरसों और गन्ना सिंचित फसलों का प्रति हेक्टेयर लागत का आंकलन किया गया। इसी प्रकार से वर्ष 2025-26 हेतु सब्जियों में लगने वाली प्रति हेक्टेयर लागत का आंकलन किया गया। जिसमें बीज, उर्वरक, गोबर खाद, पौध संरक्षण राशि, अन्य खर्च को शामिल किया गया है। सब्जियों में आलू, टमाटर, प्याज, मिर्च, भिंड्डी, कद्दू, बैगन, तरबूज, घुईयां, गाजर, फूलगोभी, अदरक, मूली, लहसुन सब्जियों का प्रति हेक्टेयर लागत का आंकलन किया गया। कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने आयोजित बैठक में मत्स्य उत्पादन इकाई, मत्स्य बीज संवर्धन, मछलीपालन, केज कल्चर, सिचाई जलाशयों के पट्टेधारक समिति हेतु, बायोफ्लाक, आरएएस, पट्टाधारक समिति के सदस्य समूह, मत्स्य महासंघ के जलाशयों के समिति के सदस्यों के क्रेडिट कार्ड तथा नदियों में मत्स्याखेट करने वाले मछुआरों हेतु प्रदाय की जाने वाली योजनाओं एवं सुविधाओं के बारे में समीक्षा की गई।
कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने जिला स्तरीय वनाधिकार समिति के प्रकरणों की समीक्षा की
मंडला महावीर न्यूज 29. कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने कहा कि वनभूमि में काबिज व्यक्तियों को वनाधिकार अधिनियम के तहत लम्बित आवेदन पत्र की समीक्षा कर वनाधिकार हक प्रमाण पत्र प्रदान किया जाए। इसके लिए ग्राम स्तरीय, जनपद स्तरीय एवं जिला स्तरीय समितियाँ लम्बित प्रकरणों की गहनता से छानबीन करे। जिससे पात्रताधारी व्यक्तियों को वनाधिकार हक प्रमाण पत्र प्रदान किया जा सके।
कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा शुक्रवार को गोलमेज सभाकक्ष में जिला स्तरीय वनाधिकार समिति के प्रकरणों की समीक्षा कर रहे थे। इस अवसर पर जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री श्रेयांश कूमट सहित वन विभाग एवं जनजातीय कार्यविभाग के अधिकारी मौजूद थे। आयोजित बैठक में पुलिस अधीक्षक जिला मंडला द्वारा तहसील बिछिया अंतर्गत ग्राम धमनगांव में अस्थाई पुलिस कैम्प निर्माण हेतु कक्ष क्रमांक 324 में कुल रकबा 0.95 हेक्टेयर वनभूमि हेतु प्रस्तुत प्रस्ताव पर चर्चा की गई। आयोजित बैठक में वनाधिकार अधिनियम अंतर्गत ग्राम पंचायत मनोरी, वनग्राम मनोरी के व्यक्तिगत दावे के आवेदनों पर चर्चा की गई। इसी प्रकार से ग्राम पंचायत किसली भिलवानी के आवेदन पत्रों पर भी चर्चा की गई। आयोजित बैठक में सीएम हेल्पलाईन पोर्टल पर दर्ज एल-4 एवं एल-2 प्रकरण में भी चर्चा की गई। आयोजित बैठक में वनग्रामों से सामुदायिक वनाधिकार दावों हेतु प्रस्तुत किए गए आवेदनों की भी समीक्षा की गई।
कलेक्टर सोमेश मिश्रा ने दिव्यांगजनों के लिए संचालित योजनाओं और अधिकारों की जानकारी दी
- दिव्यांगजनों को योजना और अधिकारों से लाभान्वित करने के लिए प्रोजेक्ट सुगम्य प्रारंभ किया गया
मंडला महावीर न्यूज 29. कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने कहा कि दिव्यांगजनांे को शासन द्वारा मिलने वाली योजनाआंे और सुविधाआंे से लाभान्वित करने के लिए प्रोजेक्ट सुगम्य अंतर्गत दिव्यांगजनों के लिए परिवहन सुविधा का अधिकार एक पहल प्रारंभ किया गया है। जिसके तहत दिव्यांगजनों को शासन से मिलने वाली योजनाओं और उनके अधिकारों से लाभान्वित किया जायेगा। कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा शुक्रवार को जिला योजना भवन में आयोजित प्रोजेक्ट सुगम्य की समीक्षा कर रहे थे। इस अवसर पर नगरपालिका मंडला अध्यक्ष श्री विनोद कछवाहा, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री श्रेयांश कूमट, अपर कलेक्टर श्री राजेन्द्र कुमार सिंह, अपर कलेक्टर श्री अरविंद सिंह, एसडीएम मंडला श्रीमती सोनल सिडाम, डिप्टी कलेक्टर श्री आशुतोष ठाकुर, जिला परिवहन अधिकारी श्रीमती रमा दुबे, जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग श्री रोहित बड़कुल सहित विभागीय अधिकारी मौजूद थे।
कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने आयोजित बैठक में दिव्यांगजनों के लिए प्रदाय किए जाने वाली योजनाओं और अधिकारों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि दिव्यांगजनों को पेंशन, आर्थिक सहायता, कृत्रिम उपकरण प्रदान किए जाते हैं। उन्होंने बताया कि दिव्यांगजनांे को बसों के आरक्षण तथा किराए में 50 प्रतिशत छूट प्रदान की जाती है। आयोजित बैठक में सर्वसम्मति से बसों में दिव्यांगजनांे के लिए क्रमांक 1 से 5 तक सीट आरक्षित करने के प्रस्ताव को स्वीकार किया गया। उन्होंने बताया कि दिव्यांगजनों को किसी भी प्रकार की कठिनाई होने पर वे 181 में कॉल कर अपनी समस्याओं का समाधान करा सकते हैं। कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा ने आयोजित बैठक में बताया गया कि दिव्यांगजनों के स्वावलम्बन के लिए लगातार कार्य किए जाते हैं।
उन्हें आर्थिक रूप से सक्षम एवं समृद्ध बनाने का प्रयास किया जाता है। उनके साथ समाज में मैत्रीपूर्ण व्यवहार किया जाता है। आयोजित बैठक में नगरपालिका मंडला अध्यक्ष श्री विनोद कछवाहा ने कहा कि दिव्यांगजनों को मिलने वाली सहायता एवं सुविधा उन्हें प्रमुखता से मिले इसके लिए सभी विभाग संवेदनशीलता से काम करें। उन्होंने कहा कि विभागों के द्वारा दिव्यांगजनों की समस्याओं का निराकरण भी तत्परता से किया जाए। जिससे दिव्यांगजन समाज में सम्मानपूर्वक जीवनयापन कर सकें। आयोजित बैठक में कलेक्टर श्री सोमेश मिश्रा और नगरपालिका मंडला अध्यक्ष श्री विनोद कछवाहा ने दिव्यांगजनांे को यूडीआई कार्ड का वितरण किया।
स्टेंडिंग कमेटी की बैठक सह प्रेसवार्ता 6 जनवरी को
मंडला महावीर न्यूज 29. अपर कलेक्टर एवं उपजिला निर्वाचन अधिकारी श्री राजेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि फोटो निर्वाचक नामावली का विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण-2025 के निर्धारित कार्यक्रमानुसार सभी मतदान केन्द्रों में 6 जनवरी 2025 को अंतिम प्रकाशन किया जावेगा। इसके उपलक्ष्य में जिला योजना भवन मण्डला के सभाकक्ष में 6 जनवरी 2025 को अपरान्ह 3ः30 बजे से स्टेंडिंग कमेटी की बैठक सह प्रेसवार्ता का आयोजन किया गया है।
परियोजना बिछिया के सेक्टर मोचा में कार्यकर्ताओं का प्रशिक्षण संपन्न हुआ
मंडला महावीर न्यूज 29. प्रशासक वन स्टॉप सेंटर ने बताया कि सेक्टर मोचा परियोजना बिछिया जिला मण्डला में कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण दिया गया। शासन की मंशा के अनुसार संपूर्ण हितग्राहियों को सुविधाएं देने का प्रावधान है जिसके अंतर्गत कार्यकर्ताओं को गर्भवती, धात्री एवं 6 माह से 3 वर्ष के बच्चों को टेक होम राशन वितरित किया जाता है। इस हेतु शासन के नियम के अनुसार केवल हितग्राहियों को ही यह लाभ प्राप्त हो कोई दूसरा इसका दुरुपयोग न कर सके, इस हेतु एफआरएस की ट्रेनिंग सेक्टर स्तर पर दी गई। चूंकि पोषण ट्रेकर ऐप में गर्भवती, धात्री एवं 6 माह से 3 वर्ष के बच्चों का पंजीयन किया जा चुका है।
लाभ दिलाने के लिये फोटो खींची जायेगी, ईकेवाईसी किया जायेगा। तत्पश्चात आधार में लिंक मो.नं. पर ओटीपी प्राप्त होगा और ओटीपी के द्वारा ही हितग्राही का सत्यापन कर टीएचआर प्रदान किया जायेगा। हितग्राहियों को आधार में जुड़े मोबाइल को लेकर आंगनवाड़ी केन्द्रों में उपस्थित होना अनिवार्य है। यह जानकारी प्रत्येक हितग्राही तक पहुंचे इस हेतु कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित किया गया। उक्त प्रशिक्षण बिछिया विकासखंड समन्वयक सुभाष सिंगौर एवं पर्यवेक्षक मधुलिका उपाध्याय द्वारा दिया गया। जिसमें मोचा सेक्टर की सभी कार्यकर्ताओं ने हिस्सा लिया।
“गांव की बेटी योजना” एवं “प्रतिभा किरण योजना” में आवेदन प्रारंभ
- छात्रवृत्ति के आवेदन ऑनलाइन
मंडला महावीर न्यूज 29. उच्च शिक्षा विभाग द्वारा संचालित “गाँव की बेटी योजना” एवं “प्रतिभा किरण योजना” के अंतर्गत शैक्षणिक-सत्र 2024-25 में प्रवेशित छात्राओं के ऑनलाईन नवीन एवं नवीनीकरण आवेदन के लिए छात्रवृत्ति पोर्टल पर आवेदन सुविधा प्रारंभ कर दी गई हैं।
उच्च शिक्षा विभाग से संबद्ध समस्त विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालय में अध्ययनरत शैक्षणिक-सत्र 2024-25 में प्रवेशित समस्त पात्र छात्राएं “गांव की बेटी योजना” एवं “प्रतिभा किरण योजना” के अंतर्गत ऑनलाईन आवेदन कर सकेंगी। छात्राएं पोर्टल द्धह्लह्लश्चह्य://द्धद्गह्यष्द्धशद्यड्डह्म्ह्यद्धद्बश्च.द्वश्च.द्दश1.द्बठ्ठ पर ऑनलाईन आवेदन कर सकेंगी। समस्त विश्वविद्यालय के कुलसचिवों एवं शासकीय/अशासकीय महाविद्यालय के प्राचार्यों को सत्र 2024-25 में प्रवेशित छात्राओं के आवेदन सुनिश्चित कराने के लिए भी निर्देश जारी किये गये है।
हार-जीत खेल का हिस्सा, खेलों में सहभागिता आवश्यक: उप मुख्यमंत्री श्री शुक्ल
- सैम ग्लोबल यूनिवर्सिटी में पश्चिम क्षेत्र इंटर विश्वविद्यालय (महिला) शतरंज टूर्नामेंट का शुभारंभ
मंडला महावीर न्यूज 29. मुख्यमंत्री श्री राजेन्द्र शुक्ल ने कहा है कि शिक्षा और स्वास्थ्य का स्तर ऊंचा उठाकर ही देश को तरक्की के पथ पर आगे बढ़ाया जा सकता है। खेल शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण हैं। उन्होंने कहा कि हार-जीत खेल का हिस्सा है, खेलों में सहभागिता आवश्यक है। उन्होंने सैम ग्लोबल यूनिवर्सिटी के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि ऐसे आयोजन छात्रों के आत्मविश्वास और कौशल को निखारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। उप मुख्यमंत्री श्री शुक्ल ने सैम ग्लोबल यूनिवर्सिटी और एसोसिएशन ऑफ इंडियन यूनिवर्सिटीज के तत्वावधान में पश्चिम क्षेत्र इंटर यूनिवर्सिटी (महिला) शतरंज टूर्नामेंट (2024-2025) का सैम यूनिवर्सिटी परिसर भोपाल में माँ सरस्वती की प्रतिमा के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन कर किया। उप मुख्यमंत्री श्री शुक्ल ने विश्वविद्यालय परिसर में वृक्षारोपण भी किया। टूर्नामेंट में राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश के 60 विश्वविद्यालयों की 255 महिला खिलाड़ी सहभागिता करेंगी। सैम समूह के अध्यक्ष डॉ. हरप्रीत सिंह सलूजा, कुलपति डॉ. एन.के. तिवारी सहित अन्य प्रतिनिधि उपस्थित रहे। डॉ. तिवारी ने विश्वविद्यालय की उपलब्धियों की जानकारी दी।
प्रदेश में वन्य-जीव पर्यटन अभियान की शुरुआत 4 जनवरी से : मुख्यमंत्री डॉ. यादव
- मुख्यमंत्री डॉ. यादव शनिवार को करेंगे चंबल अभयारण्य का भ्रमण
मंडला महावीर न्यूज 29. मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि वन्य जीव पर्यटन की दिशा में मध्यप्रदेश महत्वपूर्ण कदम उठा रहा है। शनिवार 4 जनवरी से वन्य-जीव पर्यटन को एक नया आयाम मिलेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव चंबल अभयारण्य का भ्रमण कर चंबल नदी के घडिय़ाल अभयारण्य की व्यवस्थाओं का अवलोकन कर पर्यटन सुविधाओं का जायजा लेंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रकृति ने मध्यप्रदेश को कई वरदान दिए हैं। सघन वन, वृक्षों की विविधता के साथ ही वन्य-प्राणियों की भी विविधता मध्यप्रदेश में देखने को मिलती है। वनों और वन्य-प्राणियों से मध्यप्रदेश की एक अलग पहचान बनी है। मध्यप्रदेश बाघ, तेंदुआ और घडिय़ाल जैसे प्राणियों की सर्वाधिक संख्या वाला प्रदेश है। चीता पुनर्स्थापन करने वाला मध्यप्रदेश एक मात्र प्रदेश है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि देश में ही नहीं पूरे विश्व में सर्वाधिक घडिय़ाल चंबल नदी में पाए जाते हैं। उन्होंने बताया कि विश्व में लगभग तीन हजार घडिय़ाल हैं, तो इनमें से 85 प्रतिशत चंबल नदी में हैं। करीब चार दशक पहले घडिय़ालों की गणना का कार्य शुरू हुआ, जिससे घडिय़ालों के इतनी बड़ी संख्या में चंबल में होने की जानकारियां सामने आईं। जनवरी और फरवरी महीने में अनुकूल तापमान का अनुभव कर घडिय़ाल पानी से बाहर निकलते हैं और उस वक्त घडिय़ालों और मगरमच्छों की गिनती आसानी से हो जाती है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि राष्ट्रीय चंबल अभयारण्य को राष्ट्रीय चंबल घडिय़ाल वन्य-जीव अभयारण्य के नाम से भी जाना जाता है। पर्यटकों में यह चंबल बोट सफारी के नाम से प्रसिद्ध है। यह तीन राज्यों मध्यप्रदेश, राजस्थान और उत्तर प्रदेश के संयुक्त प्रयासों से एक प्रमुख संरक्षण परियोजना है। मध्यप्रदेश में वर्ष 1978 में इसे वन्य-जीव अभयारण्य के रूप में मान्यता दी गई थी। चंबल घडिय़ाल वन्य-जीव अभयारण्य का मुख्य उद्देश्य लुप्तप्राय घडिय़ाल, लाल मुकुट वाले छत कछुए और लुप्तप्राय गांगेय डॉल्फिन को संरक्षित करना है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि यह अभयारण्य लगभग साढ़े पांच वर्ग किलोमीटर के क्षेत्र में फैला हुआ है। पहाडिय़ों और रेतीले समुद्र तटों की तरह चंबल नदी के तटों से यह धरती भरी हुई है। यह वन्य-जीव संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत संरक्षित है और इसका मुख्यालय मुरैना में है। घडिय़ालों और गंगा डॉल्फिनों का निवास स्थान, पारिस्थितिकी संवेदनशील क्षेत्र घोषित किया गया है। घडिय़ाल, लाल मुकुट वाले कछुए और डॉल्फिऩ यहाँ पाए जाते हैं। अन्य जानवर जो (दुर्लभ) श्रेणी में हैं, उनमें मगरमच्छ, चिकने-लेपित ऊदबिलाव, धारीदार लकड़बग्घा और भारतीय भेडिय़े हैं, जो संरक्षण सूची की अनुसूची-1 में शामिल हैं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि चंबल नदी में कछुआ परिवार की 26 दुर्लभ प्रजातियों में से 08 प्रजातियाँ पाई जाती हैं। इनमें भारतीय संकीर्ण सिर एवं नरम खोल वाला कछुआ, तीन धारीदार छत वाला कछुआ और मुकुटधारी नदी वाला कछुआ शामिल हैं, जो यहां की पहचान है।
शीतकाल है घडिय़ाल देखने का उपयुक्त समय
चंबल में घडिय़ाल अभयारण्य देखने के लिए यात्रा का सर्वोत्तम समय अक्टूबर से जून तक रहता है। शीतकाल में घडिय़ाल देखने और यह क्षेत्र घूमने का सबसे अच्छा समय माना गया है। राष्ट्रीय चंबल वन्य-जीव अभयारण्य में प्रकृति को देखने की बहुत सी गतिविधियाँ होती हैं। घडिय़ाल, डॉल्फिऩ, अन्य सरीसृप, जल निकायों और सुंदर परिदृश्य की फोटोग्राफी नाव की सवारी से की जा सकती है। यहाँ की घाटियों और नदियों के किनारे पगडंडियों पर चलना प्रकृति को करीब से देखने का मौका देता है। चंबल नदी लगभग एक हजार किलोमीटर लंबी है। पर्यटक चंबल घडिय़ाल सफारी अभयारण्य का आनंद उक्त क्षेत्र के निकटवर्ती नगरों में रहवास सुविधा का उपयोग ले सकते हैं।
कला साध्य भी है, आराध्य भी है : मुख्यमंत्री डॉ. यादव
- मुख्यमंत्री ने राष्ट्रीय कला उत्सव 2024-25 का किया शुभारंभ
मंडला महावीर न्यूज 29. मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने शुक्रवार को एनसीईआरटी परिसर भोपाल के कला मंडपम में संस्कृति और कला के अनूठे संगम राष्ट्रीय कला उत्सव 2024-25 का शुभारंभ किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने दीप प्रज्जवलित कर भव्य आयोजन की शुरुआत की। कार्यक्रम में पारंपरिक और आधुनिक कला सामंजस्य का सुंदर समावेश किया गया है। राष्ट्रीय कला उत्सव 2024-25 सोमवार 6 जनवरी तक चलेगा, जिसमें देशभर से आए कलाकार अपनी कला का प्रदर्शन करेंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि कला हमारे समाज, हमारी संस्कृति का प्रतिबिंब है। इसे बढ़ावा देना हमारी सांस्कृतिक विरासत को सहेजने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। कला एक साधना और कलाकार एक साधक है। कला साध्य भी है और आराध्य भी है। कला ही समाज को अलंकृत करती है। उन्होंने राज्य सरकार द्वारा कलाकारों और सांस्कृतिक संस्थाओं को हर संभव समर्थन देने की बात कही और कला के संरक्षण और संवर्धन पर जोर दिया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने भगवान श्रीकृष्ण का उदाहरण देते हुए कहा कि भगवान श्रीकृष्ण 64 कलाओं और 14 विधाओं में निपुण थे। वे ललित कलाओं में पारंगत थे। वे रागी थे, अनुरागी थे, धर्म की स्थापना के लिए इस धरा पर आये परम योगी थे। यौगिक क्रियाओं के प्रवर्तक श्रीकृष्ण सच्चे अर्थों में योगिराज थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि अनेकता से एकता भारत की विशेषता है। हमें अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत पर नाज़ करना चाहिए। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि यह उत्सव, भारत सरकार द्वारा वर्ष 2015 से प्रारंभ किया गया यह एक अनूठा कार्यक्रम है, जिसका उद्देश्य विद्यार्थियों की कलात्मक प्रतिभा को विकसित करना और भारतीय कला एवं शिल्प की धरोहर को संरक्षित तथा यथावत रखना है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भारत की सांस्कृतिक परंपरा को विद्यार्थियों में प्रचारित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 शिक्षा के माध्यम से कला और संस्कृति को बढ़ावा देने पर बल देती है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भारतीय कला एवं संस्कृति का संवर्धन न केवल राष्ट्र, बल्कि प्रत्येक नागरिक के लिए भी महत्वपूर्ण है। कला एवं संस्कृति विद्यार्थियों में नैतिक मूल्यों और नैतिकता की भावना को विकसित करती है, जिससे वे मशीनी होने की अपेक्षा संवदेनशील मनुष्य बन पाते हैं। कला की कोई भी विधा हो, यह अधिगम का एक सशक्त माध्यम है। कला चाहे नृत्य हो, गायन हो, वादन हो, चित्रण हो, शिल्पकला या अन्य कोई भी विधा हो अथवा स्थानीय/पारम्परिक खेल-खिलौने हों, ये सभी विधाएं विद्यार्थियों के शारीरिक, मानसिक, वैचारिक, सामाजिक, भावनात्मक और व्यावहारिक विकास में वृद्धि करती हैं। कला उत्सव, हमारे विद्यार्थियों को एक ऐसा मंच प्रदान कर रहा है, जहाँ वे संपूर्ण भारत के सांस्कृतिक रूप को समग्रता में अनुभव कर सकते हैं। कला उत्सव में अलग-अलग राज्यों से जुड़े छात्र-छात्राओं का परस्पर संवाद उन्हें संपूर्ण भारत से जुड़ाव की अनुभूति कराता है। स्कूल शिक्षा एवं परिवहन मंत्री श्री उदय प्रताप सिंह ने देश के विभिन्न अंचलों से आये बाल कलाकारों का उत्साहवर्धन करते हुए कहा कि यह कला उत्सव बाल कलाकारों को उनकी प्रतिभा की अभिव्यक्ति/प्रदर्शन का मंच प्रदान करता है। उन्होंने आल्हादित होकर कहा कि आज हमारे बच्चे ज्ञान-विज्ञान, कला-कौशल, संस्कृति से जुड़कर अपनी मेधा से देश का नाम रोशन कर रहे हैं। बाल कलाकार अपनी कला को ओर अधिक निखारें। पूरा क्षितिज उनका है, भविष्य उन्हीं का है।
केन्द्रीय शिक्षा एवं साक्षरता मंत्रालय में अतिरिक्त सचिव श्री आनंदराव विष्णु पाटिल ने बताया कि विकसित भारत अभियान एवं एक भारत श्रेष्ठ भारत की मूल मंशा के लिये इस कला उत्सव का यह 10वां संस्करण है। इसके जरिए बच्चे अपनी कला को और निखार रहे हैं। एनसीईआरटी नई दिल्ली के निदेशक प्रो. दिनेश प्रसाद सकलानी ने कहा कि हमारी नई शिक्षा नीति पूरी तरह भारतीयता से समावेशित है। यह ऐसी है कि विद्यार्थियों को कला विषय में विज्ञान का और विज्ञान व सामाजिक विज्ञान विषय में कला का बोध होता है। हमने अब तक जो किया वह विकसित भारत के निर्माण को समर्पित है। कला उत्सव में तीन दिन बाल कलाकारों का प्रदर्शन होता है। चौथे व अंतिम दिन जूरी द्वारा कलाकारों को पुरस्कृत कर कला उत्सव का समापन किया जाता है। स्वागत भाषण में कला उत्सव की राष्ट्रीय संयोजक प्रो. ज्योत्सना तिवारी ने बताया कि यह 10वां एवं भोपाल में आयोजित तीसरा राष्ट्रीय कला उत्सव है। आयोजन का मूल उद्देश्य है कि अपनी कला के जरिए बच्चे आगे बढ़े। देश भर के करीब 500 बाल कलाकार अपने शिक्षकों/अभिभावकों के साथ भोपाल आकर आयोजन को सफल बना रहे हैं। कार्यक्रम में विधायक श्री भगवानदास सबनानी, महापौर श्रीमती मालती राय, केन्द्रीय शिक्षा एवं साक्षरता मंत्रालय में संयुक्त सचिव श्रीमती अर्चना शर्मा, डॉ. दीपक पालीवाल, प्रो. चित्रा सिंह, प्रो. रत्नामाला आर्य, श्री एन.सी. ओझा सहित बड़ी संख्या में आये बाल कलाकार, शिक्षक, अभिभावक एवं दर्शक उपस्थित थे। केंद्रीय शिक्षा एवं साक्षरता मंत्रालय की पहल पर राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसन्धान और प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) नई दिल्ली द्वारा क्षेत्रीय शिक्षा संस्थान, भोपाल और पं. सुन्दरलाल शर्मा केंद्रीय व्यावसायिक शिक्षा संस्थान, भोपाल में 10वें राष्ट्रीय कला उत्सव का आयोजन किया गया है। इसमें केंद्रीय विद्यालय संगठन, नवोदय विद्यालय समिति, एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय सहित भारत के राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के माध्यमिक स्तर के लगभग साढ़े पांच सौ विद्यार्थी अपने एस्कॉर्ट के साथ भाग ले रहे हैं। गायन, वादन, नृत्य, दृश्य कला, रंगमंच और परम्परागत कहानी जैसी कला-विधाओं पर हो रहे इस कला उत्सव में भारत के लब्ध-प्रतिष्ठ कला साधकों को निर्णायकों के रूप में आमंत्रित किया गया है। अव्वल प्रदर्शन करने वाले बाल कलाकारों को क्रमश: स्वर्ण, रजत एवं कांस्य पदक/पुरस्कार से नवाजा जाएगा।